दिल के ज़ज्बात यूँ दिखे हर सू लोग हंस कर गले मिले हर सू
आज भी है सवाल, सहरा मेंआब ही आब क्यूँ दिखे हर सू
ज़िंदगी मुस्करा नहीं पाती चश्मे नम लोग दिख रहे हर सू
कोई हैवान क्यूँ बना होगानेक इंसान पूछते हर सू
ख्वाहिशें बढ़ गयी हैं अब इतनीआज ईमान बिक रहे हर सू
दिल कई आज रात टूटे हैं लोग अफ़सूरदा दिखे हर सू
गुम कहाँ हो गयी मुहब्बत सब आज दिखते हैं दिलजले हर सू
दुःख भरे दिन तो बीतने ही थे दीप खुशियों के जल उठे हर सू
आज भी है सवाल, सहरा में
आब ही आब क्यूँ दिखे हर सू
ज़िंदगी मुस्करा नहीं पाती
चश्मे नम लोग दिख रहे हर सू
कोई हैवान क्यूँ बना होगा
नेक इंसान पूछते हर सू
ख्वाहिशें बढ़ गयी हैं अब इतनी
आज ईमान बिक रहे हर सू
दिल कई आज रात टूटे हैं
लोग अफ़सूरदा दिखे हर सू
गुम कहाँ हो गयी मुहब्बत सब
आज दिखते हैं दिलजले हर सू
दुःख भरे दिन तो बीतने ही थे
दीप खुशियों के जल उठे हर सू
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